अपनी देशभक्ति के जज्बे से मर कर भी बल्लू अमर हो गया था। अब वह भी अमर जवान था। अपनी देशभक्ति के जज्बे से मर कर भी बल्लू अमर हो गया था। अब वह भी अमर जवान था।
यह तेरा तीसरा वीरता पुरस्कार है। यह तेरा तीसरा वीरता पुरस्कार है।
मानेकशॉ का जन्म पंजाब के अमृतसर में 1914 ई.को एक पारसी परिवार में हुआ था। मानेकशॉ का जन्म पंजाब के अमृतसर में 1914 ई.को एक पारसी परिवार में हुआ था।
मम्मा आप क्यों रो रहे हो, क्या सीमा पर मरने वाले हमारे पहचान वाले थे? मम्मा आप क्यों रो रहे हो, क्या सीमा पर मरने वाले हमारे पहचान वाले थे?
एक सैनिक की मनःस्थिति को परत दर परत उधेड़ती कहानी- सब कुछ अधूरा है .... एक सैनिक की मनःस्थिति को परत दर परत उधेड़ती कहानी- सब कुछ अधूरा है ....
माँ...! तू ठीक है ना, बस तुझसे बिछड़ने का दर्द था।" आख़िरी सांस लेते-लेते उसने अपने माथे पर देश की मिट... माँ...! तू ठीक है ना, बस तुझसे बिछड़ने का दर्द था।" आख़िरी सांस लेते-लेते उसने अपन...